एक बेरोजगार युवक की कहानी
एक ऐसा युवक है जो अपनी ऑनर्स की पढ़ाई पूरी करने के बाद भी नौकरी पाने के लिए संघर्ष कर रहा है। आखिरकार, उसे चिड़ियाघर में नौकरी मिल जाती है। चिड़ियाघर में बाघ की मौत हो गई थी, जिससे उसका पिंजरा खाली हो गया था। चिड़ियाघर के अधिकारी उस व्यक्ति को नौकरी की पेशकश करते हैं - बाघ की तरह कपड़े पहनो, दहाड़ो और आठ हजार रुपये महीने कमाओ। बेरोजगार व्यक्ति सहमत हो जाता है और हर दिन आगंतुकों का मनोरंजन करना शुरू कर देता है। चिड़ियाघर में आने वाले लोगों की संख्या बढ़ जाती है, और अधिकारी प्रसन्न होते हैं, इसलिए वे उसका वेतन बढ़ा देते हैं। सब कुछ ठीक चल रहा होता है, लेकिन एक दिन दुर्घटना हो जाती है। शेर का पिंजरा बाघ के पिंजरे से सटा हुआ है, जो केवल एक लोहे के जाल से अलग है। एक दिन, अपने प्रदर्शन का आनंद लेते हुए, आदमी शेर के पिंजरे में कूद जाता है, और एक आपदा आसन्न लगती है। आदमी और शेर दोनों ही डर जाते हैं, लेकिन अंततः शेर बोल पड़ता है, और बताता है कि वह भी एक बेरोजगार ऑनर्स ग्रेजुएट है।